29 जुल॰ 2008

ब्लॉगरस के लिए अधिनियम लाने की तैयारी आचार संहिता हेतु समिति का गठन होगा


सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार सरकार ब्लॉगस्पाट एवं अन्य साइट्स पर ब्लॉग लिखने वालों के प्रोत्साहन हेतु संसद में ब्लॉग अधिनियम लाने जा रही है . चूंकि ब्लागिंग एक अन्तरराष्ट्रीय विषय अतएव ब्लागवीरों की एक कमेटी का गठन किया जावेगा,कमेटी में सर्वाधिक टिप्पणी कराने वाले ब्लॉगर को शामिल किया जावेगा. किंतु अधिनियम के मसौदे पर विचार पूर्व ही इस बात को लेकर विवाद हो गया कि :- सर्वाधिक टिप्पणी पाने वालों को कमेटी का प्रधान बनाया जावे ,
बहरहाल जब आगे का हाल मुझे उक्त सूत्र दे रहा था कि मेरी पत्नी ने मुझे झिड़की देकर जगाया : देर रात तक ब्लागिंग करते हो सुबह आठ बजे तक सोते रहते हो , नौकरी का होश है कि नहीं ....
श्रीमती के दबाव में मुझे जागना पडा किंतु सत्य तो यह है की सपना टूटने का मुझे बेहद दर्द है।

3 टिप्‍पणियां:

  1. मुकुल जी सब से उपर वाली टिपण्णी से बचना, इस के लिंक पर कलिक मत करना, दुसरा संसदो भाई अपनी गन्दगी से बांल्ग जगत को दुर ही रहने दो,यहां भी अमीर ओर गरीब का चक्कर मत चलाओ, कम ज्यादा टिपण्णी का लेखा जोखा दे कर, मेने देखा हे मस्त राम (सेक्सी) पर टिपण्णिया ही टिपण्णीया हे तो क्या मस्त राम जी हमारे प्रधान बन जायेगे??

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  2. आज थोड़ा जल्दी सो जाईयेगा-चुनाव परिणाम जानने को मन लगा है. :)

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कँवल ताल में एक अकेला संबंधों की रास खोजता !
आज त्राण फैलाके अपने ,तिनके-तिनके पास रोकता !!
बहता दरिया चुहलबाज़ सा, तिनका तिनका छिना कँवल से !
दौड़ लगा देता है पागल कभी त्राण-मृणाल मसल के !
सबका यूं वो प्रिय सरोज है , उसे दर्द क्या कौन सोचता !!